आज़ादी के बाद से अब तक उत्तर प्रदेश में 18 विधानसभा चुनाव हुए हैं, जिसमें 21 मुख्यमंत्रियों ने सरकार चलाई है। सब ने अपने-अपने हिसाब से सरकार चलाई है। लेकिन योगी आदित्यनाथ ने ऐसे काम किया कि इतिहास बना दिया। उन्होंने हर क्षेत्र में विकास करने का काम किया है। चाहे वो सड़कों का जाल हो या मेट्रो का निर्माण, एयरपोर्ट का विस्तार हो या फिर सुरक्षा के क्षेत्र की बात, सभी में योगी आदित्यनाथ ने पूर्व सभी सीएम से आगे ही नज़र आते हैं।
योगी आदित्यनाथ के शासनकाल में उत्तर प्रदेश में सड़कों के विकास के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं। इनमें सड़कों का निर्माण, मरम्मत, और विकास शामिल हैं। सड़कों की नेटवर्किंग, यानी सड़कों की समृद्धि और सुरक्षा को मजबूत किया गया है ताकि यात्रियों को सुरक्षित और सुगम यात्रा का अनुभव हो।
योगी सरकार ने निम्नलिखित कदम उठाए हैं:-
1.सड़क निर्माण और पुनर्निर्माण: उत्तर प्रदेश में सड़कों के निर्माण और पुनर्निर्माण का काम तेजी से चल रहा है। यात्रा को आसान करने के के लिए ब्रिज, ओवरब्रिज, और अंडरपास का निर्माण भी किया जा रहा है।
2. सुरक्षा की व्यवस्था: सड़कों पर सुरक्षित यात्रा को बनाए रखने के लिए सुरक्षा की व्यवस्था में सुधार किया गया है। इसमें सड़कों पर सीसीटीवी कैमरे लगाना, स्पीड गंतव्यों का पालन कराना, और तकनीकी सुरक्षा सुविधाएं शामिल हैं।
3.सड़कों का नेटवर्किंग: योगी सरकार ने उत्तर प्रदेश के सड़कों का नेटवर्किंग मजबूत करने के लिए प्रयास किया है। इसमें राज्य के गांवों और शहरों को सड़कों के द्वारा जोड़ना और अधिक सड़क सुविधाओं का प्रदान करना शामिल है।
4.तकनीकी अद्यतन: तकनीकी अद्यतन के माध्यम से भी सड़कों का नेटवर्किंग मजबूत किया जा रहा है। इसमें ऑनलाइन सड़क मैपिंग, ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम, और डिजिटल सड़क सुरक्षा उपकरणों का उपयोग शामिल है।
योगी आदित्यनाथ के शासनकाल में उत्तर प्रदेश में मेट्रो का निर्माण और विकास काम तेजी से चल रहा है। मेट्रो रेल परियोजनाएं शहरों के जनसंख्या और यातायात को सुगम बनाने के लिए महत्वपूर्ण होती हैं। इन परियोजनाओं के तहत, शहरी इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत और सुरक्षित बनाने का प्रयास किया जाता है।
उत्तर प्रदेश में कई शहरों में मेट्रो रेल परियोजनाओं का विकास हो रहा है, जिनमें लखनऊ, आगरा, वाराणसी, प्रयागराज आदि शामिल हैं। इन परियोजनाओं के द्वारा शहरों की यातायात समस्याओं को हल करने का प्रयास किया जा रहा है, जिससे यात्री बेहतर सुविधा का अनुभव कर सकें।
मेट्रो परियोजनाएं शहरों के अन्य भागों से जुड़ी बाजारों, व्यापारिक क्षेत्रों, शिक्षा संस्थानों, और अन्य महत्वपूर्ण स्थलों को भी संजोया गया है। इससे शहरों की विकास को गति मिल रही है और लोगों को बेहतर और तेजी से यात्रा का मौका मिल रहा है।

योगी आदित्यनाथ की सरकार ने उत्तर प्रदेश में मेट्रो के निर्माण का कार्य किया है, जिससे शहरों की इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत किया गया है। योगी आदित्यनाथ के शासनकाल में उत्तर प्रदेश में हवाई अड्डों के विकास में कई महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। निम्नलिखित कुछ प्रमुख उपायों के माध्यम से हवाई अड्डों का विकास किया गया है
नए हवाई अड्डों का निर्माण: योगी सरकार ने उत्तर प्रदेश में नए हवाई अड्डों के निर्माण को प्रोत्साहित किया है। इसका उदाहरण है लखनऊ के चौधरी चरण सिंह अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा और गोरखपुर के महायोगी गोरखनाथ हवाई अड्डा का निर्माण।
अड्डों के अद्यतन और मौजूदा सुविधाओं का विस्तार: मौजूदा हवाई अड्डों को अद्यतन करने और उनकी सुविधाओं को विस्तारित करने के लिए नए परियोजनाओं को आरंभ किया गया है। इससे यात्रियों को बेहतर सेवाएं प्रदान की जा रही हैं।
हवाई अड्डों के अधिकतम उपयोग की प्रोत्साहना: हवाई यातायात को बढ़ावा देने के लिए सरकार ने हवाई अड्डों के उपयोग को बढ़ाने के लिए नई नीतियों को लागू किया है। इससे राज्य के अन्य क्षेत्रों से उत्तर प्रदेश में हवाई यात्रा का उपयोग बढ़ा है।
हवाई यात्रा की सुविधाओं में सुधार: हवाई यात्रा के लिए सुविधाओं में सुधार करने के लिए उपायों को अमल में लाया गया है। यह उत्तर प्रदेश को एक प्रमुख हवाई यात्रा केन्द्र बनाने की दिशा में कदम उठाने में मदद करेगा।
इन उपायों के माध्यम से, योगी आदित्यनाथ की सरकार ने हवाई अड्डों के विकास में महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं, जो राज्य की अग्रणी हवाई संचार सेवाओं को मजबूत करेगा।
विकास गुप्ता जो मौजूदा समय में अध्यक्ष उत्तर प्रदेश कृषि अनुसंधान परिषद (मंत्री दर्जा प्राप्त) है उन्होंने कहा की किसी भी प्रदेश को अगर तरक्की करनी है तो वहां की प्राथमिकता सड़कों को ठीक करने की होती है। जब से प्रदेश में योगी सरकार आई है तब से प्रदेश में सड़कों का काम बहुत ही तेज़ी से हुआ है। ये किसी से छिपा नहीं है की पहले की सरकार ने पूर्वांचल एक्सप्रेस को आधा अधुरा छोड़ दिया था लेकिन योगी सरकार बनते ही उन्होंने पूर्वांचल एक्सप्रेस को पूरा करवाने का काम किया। उसके बाद बुंदेलखंड एक्सप्रेस को रिकॉर्ड 27 महीनों में पूरा करवा कर जनता को समर्पित कर देना ये काम भी योगी सरकार ने ही किया है क्योंकि किसी भी एक्सप्रेस के लिए जमीन लेने में ही सालों साल निकल जाता है। इसके इलावा गंगा एक्सप्रेस वे का भी काम चल रहा है, जो की उम्मीद है की 2025 तक जनता को समर्पित हो जाएगा, जिससे मेरठ से प्रयागराज की दुरी कुछ घंटों की रह जाएगी। आगे उन्होंने कहा की मुंबई का तेजी से विकास इसलिए हुआ क्योंकि वहां समुन्दर है जिसकी वजह से दुसरे देश से व्यापार करना आसान था लेकिन उत्तर प्रदेश में भी रोड,रेल, हवाई अड्डों को इतना विकसित किया जा रहा है की कहीं समस्या नहीं होगी। उत्तर प्रदेश के ही जेवर में एशिया का सबसे बड़ा एयरपोर्ट बन रहा है जहाँ से उड़ान इसी साल के अंत तक शुरू हो जाएगी।
उत्तर प्रदेश कृषि पर आधारित है और इसके लिए इंफ्रास्ट्रक्चर का सही होना बहुत जरुरी है. आने वाले समय में जेवर एअरपोर्ट के चालू होते ही मुझे उम्मीद है की उत्तर प्रदेश का उत्पाद पुरे दुनिया में फ़ैल जाएगा जिससे योगी आदित्यनाथ जो लक्ष्य 2047 तक एक ट्रिलियन इकॉनमी बनाने का लक्ष्य समय से पहले पूरा हो जाएगा।
यूपी में सबसे ज्यादा MSMEs

हिन्दुस्तान का सबसे ज्यादा MSMEs वाला प्रदेश UP है। एक सर्वे के मुताबिक उत्तर प्रदेश में 95 लाख MSMEs है जिसमें 16 लाख से ज्यादा पोर्टल पर रजिस्टर है, जिनसे लगभग 1 करोड़ 10 से ज्यादा लोगों को रोज़गार मिला है। राज्य सरकार एमएसएमई सेक्टर को प्रोत्साहित करने के लिए छोटे (सूक्ष्म श्रेणी) उद्यमियों को पांच लाख रुपये तक का दुर्घटना बीमा कवर मुहैया करा रही है। इसके अलावा आसान लोन की सुविधा भी प्रदान कर रही है।
एक जिला, एक उत्पाद यूपी सरकार की एक जिला, एक उत्पाद योजना की चर्चा पूरे देश में है। इसे राज्य के हस्तशिल्प को बढ़ावा देने और हस्तशिल्प श्रमिकों को आर्थिक रूप से मदद करने के लिए जनवरी 2018 में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा शुरू किया गया था। इसके अलावा इस योजाना का उद्देश्य स्थानीय स्तर पर स्वदेशी और विशिष्ट उत्पादों और शिल्प को प्रोत्साहित करना है ताकि छोटे व्यपारी या एमएसएमआई अपने प्रोडक्ट को विश्व स्तर पर ले जा सके और ज्यादा से ज्यादा लोगों को रोजगार दे सकें।
ईज़ ऑफ डूइंग बिज़नेस रैंकिंग में वर्ष 2017 में 14वें स्थान से बढ़कर वर्ष 2018 में देश में दूसरे स्थान पर पहुंच गया है। यह उत्तर प्रदेश को देश में एक पसंदीदा निवेश गंतव्य बनाने में राज्य सरकार की प्रतिबद्धता को रेखांकित करता है।
गौरतलब हो की राज्य सरकार ने एक ट्रिलियन की अर्थवयवस्था बनाने का लक्ष्य रखा है और इस लक्ष्य को पूरा करने के लिए कदम भी उठाना शुरू कर दिया है। इसका उदहारण देखने को पिछले साल फरवरी में ही मिल गया था. फरवरी 2023 में हुए यूपी ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में लगभग 38 लाख करोड़ से ज्यादा का निवेश प्रस्ताव मिला था।
वहीं ग्रेटर नॉएडा में हुए MoToGP की वजह से भी पर्यटन और राज्य में निवेश को बढ़ाने का एक शानदार तरीका था। वहीं ग्रेटर नॉएडा में आयोजित पहले International Business Festival में सुचना प्रौद्योगिकी और इसकी सक्षम सेवाओं सूक्ष्म, लघु एवं माध्यम उद्यम मंत्रालय,शिक्षा, कृषि, स्वास्थ, पर्यटन आदि जैसी अलग-अलग क्ष्तेरों के उद्यमियों, निर्माताओं तथा निर्यातकों के लिए एक मंच पर्दान किया गया।